डॉक्टर की सलाह के बिना न लें एंटीबायोटिक दवा

विशेषज्ञों डॉक्टरों ने समाज में एंटीबायोटिक दवाओं के गलत इस्तेमाल पर चिंता जताई। एंटीबायोटिक दवाओं का बिना चिकित्सकीय परामर्श के इस्तेमाल नहीं करने की नसीहत दी गई। गुरुवार को एम्स निदेशक प्रो. रविकांत की देखरेख में आयोजित जन जागरूकता कार्यक्रम में विशेषज्ञों ने एंटीबायोटिक दवाओं के गलत तरीके से उपयोग पर व्याख्यान दिया। एम्स निदेशक प्रो. रविकांत ने कहा कि एंटीबायोटिक दवाओं का भविष्य हम सब लोगों के हाथों में है, लिहाजा इसके लिए चिकित्सक व आमजन को जागरूक होने की जरूरत है। उन्होंने लोगों से अपील की कि एंटीबायोटिक दवाओं का उपयोग बिना चिकित्सकीय सलाह के नहीं करें। एंटीबायोटिक दवाओं को सामान्य दवाओं की तरह इस्तेमाल करते रहे तो एंटीबायोटिक रेजिस्टेंस डेवलप एंटीबायोटिक की प्र​तिरोधकता बढ़ जाएगी, जिसके दूरगामी घातक परिणाम सामने आएंगे। लिहाजा हमें एंटीबायोटिक दवाओं को बचाकर रखने की जरुरत है। डीन एकेडमिक प्रो. मनोज गुप्ता ने कहा कि एंटीबायोटिक जीवन की सुरक्षा की दवा है, लिहाजा इसके उपयोग पर हमें ध्यान देने की आवश्यकता है। डा. मनीष शर्मा के संयोजन व जनक जोशी के संचालन में डीन रिसर्च प्रो. प्रतिमा गुप्ता, डीन नर्सिंग प्रो. सुरेश कुमार शर्मा, डा. प्रसन कुमार पांडा, डा.पुनीत धमीजा, डा. संतोष कुमार ने भी व्याख्यान दिया। उधर, एम्स की ओर से चंद्रेश्वरनगर क्षेत्र में जनजागरुकता संगोष्ठी आयोजित की गई, जिसमें संस्थान के विशेषज्ञ प्रो. एसके शर्मा,डा. पीके पांडा,डा. संतोष कुमार व डा. मनीष शर्मा ने लोगों को एंटीबायोटिक दवाओं के इस्तेमाल को लेकर जागरूक किया, साथ ही उन्हें इन दवाओं के गलत उपयोग से होने वाले नुकसान से अवगत कराया। इस अवसर पर प्रो. किम मेमन, डा. वसंता कल्याणी, रुचिका रानी, राखी मिश्रा, शिवप्रसाद बहुगुणा, रमेश बुटोला, बंशीलाल नौटियाल, सुरेंद्र भंडारी, नर्मदा सेमवाल, अंबिका सेमवाल, रचित अग्रवाल, धीरेंद्र बिष्ट आदि मौजूद थे I